ताजमहल तेजोमहालय शिव मंदिर है
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8. यदि ताजमहल मकबरा होता तो उसे महल नहीं कहा जाता, क्योकि महल में सजीव व्यक्ति ही रहते है। …
11. शाहजहां के पूर्व समय से जब ताज एक शिव मंदिर था तब से ही जूते खोलकर अंदर प्रवेश करने की परंपरा आज भी मौजूद है। यदि यह भवन मक़बरा ही होता तो इसमें प्रवेश करते समय जूते उतर देने की आवश्यकता ही नहीं पड़ती बल्कि कब्रिस्तान में तो जूते पहनना आवश्यक होता है।
18. आगरा की आबादी ज्यादातर जाटों की है। वे भगवन शंकर को तेजाश्री कहकर पुकारते है। इलस्ट्रेटेड वीकली ऑफ इंडिया , 28 जून 1971 जो जाट विशेषांक था, कहता है की जाटों के तेज मंदिर होते थे। शिवलिंग के विविध प्रकारो में तेजोलिंग भी एक है। इससे स्पष्ट होता है कि ताजमहल तेजोमहालय अर्थात शिव का विशाल मंदिर है।
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